उन्होंने सरकार पर 26/11 के हमले में लड़ने वाले एनएसजी के कमांडों साथ खराब सलूक का आरोप लगाया है. उनकी प्रेसवार्ता में सुरिंदर सिंह नाम का एक पूर्व एनएसजी कमांडो भी मौजूद था.सरकार ने सुरिंदर के आरोप ख़ारिज करते हुए कहा है कि उन्हें घायलों को दी जाने वाली पेंशन दी जा रही है.सुरिंदर सिंह का आरोप है कि उन्हें सरकार से कोई पेंश नहीं मिल रही और ना ही वादे कोई अन्य भुगतान किया गया है.
पूर्व कमांडो सुरिंदर सिंह उस हमले में घायल हुए थे. इसके बाद शारीरिक तौर पर अयोग्य होने पर उन्हें नौकरी छोड़नी पड़ी थी.
केजरीवाल ने कहा, ''उन्हें पेंशन नहीं मिलती यहां तक कि अपना मेडिकल बिल भी उन्हें खुद चुकाना पड़ता है. आज तक वे अपने हकों को लिए लड़ रहे हैं और उन्हें तरह-तरह से परेशान किया जा रहा है.''
अपनी हालत बयान करते हुए सुरिंदर सिंह ने कहा, ''मुझे इस बात का मलाल नहीं है कि मुझे घर भेज दिया गया. मैं सरकार पर बोझ नहीं बन सकता.''
पेंशन
"सुरिंदर सिंह को प्रतिमाह 25, 254 रुपए पेंशन दी जा रही है. इसके बारे में उन्हें 16 नवंबर को फोन के ज़रिए सूचित कर दिया गया था. सरकार ने सुरिंदर के सारे भुगतान चुका दिए हैं."
प्रेस इंफ़ोर्मेशन ब्यूरो का ट्वीट
लेकिन सरकार ने इन आरोपों का तुरंत जवाब देते हुए प्रेस इंफ़ोर्मेशन ब्यूरो के ज़रिए ट्वीट कर कहा, "सुरिंदर सिंह को प्रतिमाह 25, 254 रुपए पेंशन दी जा रही है. इसके बारे में उन्हें 16 नवंबर को फोन के ज़रिए सूचित कर दिया गया था. सरकार ने सुरिंदर के सारे भुगतान चुका दिए हैं. "
उन्होंने कहा कि उन्होंने कोई पेंशन नहीं मिल रही है. ''यहां तक कि अपना इलाज मैं अपने पैसे से रहा हूँ. मुझसे कहा गया कि इसके पैसे नहीं मिल सकते क्योंकि विभाग को पहले नहीं बताया था कि मैं चोटिल हूँ और इलाज करा रहा हूँ.''
उन्होंने इसे लेकर सूचना अधिकार का सहारा लेना चाहा लेकिन विभाग ने उनके अधिकतर सवालों के जवाब यह कहते हुए नहीं दिए कि यह विभाग इस कानून के तहत नहीं आता.
सुरिंदर ने कहा कि सरकार का ये दावा झूठा है कि उन्हें घायलों को दी जाने वाली पेशन यानी लगभग 25,000 रुपए हर महीने दिए जा रहे है. ''13 महीने से लगातार ये कहा जा रहा है कि मुझे पैसा दिया जाएगा लेकिन आज तक कोई पैसा नहीं मिला है.''
उधर सूचना और प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने कहा कि सुरिंदर को 31 लाख रुपए दिए गए हैं. उन्होंने कहा, ''इस पर सारी जानकारी सेना मंत्रालय देगा.''
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